हरियर एक्सप्रेस, रायपुर। आरंग में मवेशी तस्करी के दौरान कथित मॉब लिंचिंग के दौरान तीन लोगों की गैर इरादतन हत्या करने के आरोप में पुलिस ने अब झलप, महासमुंद निवासी राजा अग्रवाल नामक युवक को दबोचा है। इस मामले में यह दूसरी गिरफ्तारी है। राजा अग्रवाल को महाराष्ट्र व छत्तीसगढ़ की सीमा पर राजनांदगांव के आगे रविवार को दबोचा गया। एक दिन पहले ही एसआईटी ने बैजनाथपारा रायपुर निवासी हर्ष मिश्रा पिता सुदेश मिश्रा 24 वर्ष को इसी मामले में दुर्ग के बोरसी से गिरफ्तार किया था। पुलिस सूत्रों का दावा है कि अभी चार आरोपियों की पहचान हुई है। संदेह के दायरे में आए एक दर्जन लोग फरार हो चुके हैं। ये सभी आरोपी रायपुर और महासमुंद जिले के हैं।
अब केवल धारा 304, 34 के तहत होगी पूरी कार्रवाई
सूत्रों ने बताया कि पुलिस ने आरंग थाने में इस मामले की सूचना पर सबसे पहले मर्ग कायम किया था। इसके बाद सद्दाम खान के एक रिश्तेदार की रिपोर्ट पर गैर इरादतन हत्या और हत्या के प्रयास के आरोप में धारा 304, 307, 34 के तहत केस दर्ज किया। दो दिन पहले पुलिस ने प्रेस रिलीज में जानकारी दी थी कि प्रकरण में अब धारा 304, 308, 34 के तहत कार्रवाई कर रही है। जबकि 23 जून को एसआईटी इंचार्ज एएसपी ग्रामीण कीर्तन राठौर ने जानकारी दी कि चूंकि प्रकरण में घायल सद्दाम की भी मौत हो चुकी है, लिहाजा अब धारा 308 का कोई औचित्य नहीं रह गया है। ऐसे में पुलिस द्वारा धारा 304, 34 के तहत कार्रवाई की जाएगी। एएसपी ने दूसरे आरोपी राजा अग्रवाल की गिरफ्तारी की पुष्टि करते हुए कहा कि जांच में जैसे- जैसे आरोपियों के नाम सामने आते जाएंगे, गिरफ्तारी की जाएगी। चार आरोपियों की पहचान हो चुकी है, जिनमें से दो आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। अन्य आरोपियों की गिरफ्तारी व पहचान के लिए प्रयास जारी हैं।
दुर्ग बोरसी में छापे के बाद राज्य से निकलने की थी तैयारी
एसआईटी से आरोपी राजा अग्रवाल निवासी झलप के बारे में जानकारी मिली है कि वह राजनांदगांव के आगे बार्डर पर अपने किसी रिश्तेदार के यहां से छिपा हुआ था। एक दिन पहले बोरसी, दुर्ग में छापेमारी में हर्ष मिश्रा के गिरफ्त में आने का पता चलने पर वह वहां से फरार हुआ। उसकी तैयारी छग की सीमा पार करके महाराष्ट्र भागने की थी लेकिन वह एसआईटी के हत्थे चढ़ गया। पुलिस सूत्रों ने दावा किया कि 6-7 जून की दरम्यानी रात को आरंग में महानदी पर गांधी सेतु पर हुई घटना के दौरान यह आरोपी भी मौजूद था।
पुलिस घटनास्थल पर क्राइम सीन रिक्रिएट कराएगी।
सूत्रों से पता चला है कि आरोपी राजा अग्रवाल को पुलिस आरंग में महानदी पर गांधी सेतु ले जाएगी। वहां इस आरोपी के जरिए पता लगाएगी कि वास्तव में 6-7 जून की रात में वहां पर क्या हुआ था। कौन-कौन लोग वहां पर मौजूद थे और किस-किस जगह पर थे। एक तरह से इस आरोपी के जरिये पुलिस क्राइम सीन रिक्रिएट करेगी। जिसकी पूरी वीडियो रिकॉर्डिंग भी की जाएगी। वहीं जरूरत पड़ने पर आरोपी को कोर्ट में पेश करके पुलिस रिमांड की मांग भी की जाएगी।
आईजी ने जताई थी नाराजगी, मुस्लिम समाज भी लगा रहा आरोप
यहां उल्लेखनीय है कि 22 जून को दोपहर बाद रायपुर रेंज आईजी अमरेश मिश्रा ने रायपुर जिले के सभी वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों की बैठक ली थी। एसएसपी संतोष कुमार सिंह की मौजूदगी में उन्होंने एसआईटी की जांच व अब तक की गई कार्रवाई की समीक्षा की और आरोपियों की गिरफ्तारी में विलंब पर नाराजगी जताई थी। छत्तीसगढ़ के मुस्लिम समाज ने 21 जून को रायपुर में आक्रोश मार्च निकालकर पुलिस कार्रवाई में लेट लतीफी को लेकर गुस्सा तो जताया ही था। मामले में जिला प्रशासन से लेकर राज्य शासन पर भी आरोप लगाए थे। आक्रोश रैली में शामिल कई प्रमुख लोगों के वीडियो सोशल मीडिया में वायरल हो रहे हैं, जिसमें राज्य शासन पर मामले में हमलावरों को संरक्षण देने का आरोप लगाया गया है।